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कैडर अथोरिटी की ओर बढ़े कदम : ड्राफ्ट कमेटी की पहली बैठक में पैक्स की आर्थिक स्थिति, व्यवसाय, स्क्रीनिंग और वेतन संरचना पर चर्चा

जयपुर, 31 अक्टूबर (मुखपत्र)। प्रदेश के ग्राम सेवा सहकारी समिति कार्मिकों के लिए कैडर अथोरिटी के गठन का ड्राफ्ट तैयार करने हेतु गठित राज्य स्तरीय कमेटी की बैठकों का सिलसिला आरंभ हो गया है। गुरुवार को नेहरू सहकार भवन में, कमेटी अध्यक्ष एवं अतिरिक्त रजिस्ट्रार-द्वितीय संदीप खंडेलवाल के कक्ष में आयोजित बैठक में मुख्य रूप में समितियों की आर्थिक स्थिति, सुरक्षित सेवा शर्तों, स्क्रीनिंंग की स्थिति और कैडर अथोरिटी के तहत वेतन भुगतान की व्यवस्था पर चर्चा हुई।

श्री खंडेलवाल की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में कमेटी के सदस्य सचिव प्रेमचंद जाटव, संयुक्त रजिस्ट्रार (बैंकिंग), ज्वाइंट रजिस्ट्रार दिनेश शर्मा, प्रबंध निदेशक, जयपुर सेंट्रल कोऑपरेटिव बैंक लि., अजय उपाध्याय, संयुक्त रजिस्ट्रार (नियम), एपेक्स बैंक के डीजीएम ललित यादव, सहायक रजिस्ट्रार, सहकारी साख समितियां एम्प्लॉइज यूनियन राजस्थान के प्रदेश अध्यक्ष सूरजभान सिंह आमेरा, राजस्थान बहुउद्देशीय सहकारी सोसायटी कर्मचारी यूनियन के प्रदेशाध्यक्ष हनुमानसिंह राजावत, राजस्थान सहकारी कर्मचारी संघ के प्रदेशाध्यक्ष कुलदीप जंगम और राजस्थान सहकारी कर्मचारी विकास मंच के प्रदेश अध्यक्ष मदन मेनारिया शामिल हुए।

वेतन के लिए सरकार से वित्तीय सहयोग लिया जाये

चर्चा का मुख्य बिन्दू यही रहा कि वेतन की व्यवस्था, पूर्व की भांति त्रिस्तरीय (पैक्स, सीसीबी, अपेक्स बैंक) अशंदान से की जाये या फिर राज्य सरकार से वित्तीय सहायता प्राप्त की जाये। पैक्स प्रतिनिधियों ने इस बात पर जोर दिया गया कि वेतन भुगतान में राज्य सरकार की भागीदारी हो क्योंकि प्रदेश में अधिकांश पैक्स में खराब वित्तीय स्थिति के कारण पहले से ही कर्मचारियों को वेतन नहीं मिल रहा, ऊपर से, केंद्रीय सहकारी बैंको को राज्य सरकार से ऋण माफी एवजी 675 करोड़ रुपये का भुगतान प्राप्त नहीं होने के कारण, आरबीआई की गाइडलाइन के अनुरूप इस राशि का प्रावधान कर दिये जाने के फलस्वरूप आधे से अधिक केंद्रीय सहकारी बैंक घाटे में आ गये हैं, ऐसे में सीसीबी भी कैडर अथोरिटी में अंशदान कैसे कर पायेंगे।

चर्चा उपरांत कमेटी इस निर्णय पर पहुंची कि सर्वप्रथम राज्य की पैक्स की आर्थिक स्थिति, व्यवसाय, ऑडिट आदि की जानकारी जुटायी जाये, तब पुन: इस पर विचार किया जाये।

कमेटी ने बैंकों से मांगी सूचनाएं

ड्राफ्ट कमेटी की बैठक में लिये गये निर्णय की अनुपालना में, कमेटी के सदस्य सचिव एवं ज्वाइंट रजिस्ट्रार (बैंकिंग) पीसी जाटव की ओर से समस्त केंद्रीय सहकारी बैंकों को पत्र लिखकर, पैक्सवार वर्ष 2024-25 में अल्पकालीन फसली ऋण, अन्य व्यवसाय तथा नवाचार व्यवसाय की सूचनाएं, ऑडिट रिपोर्ट अनुसार वर्ष 2022-23 से 2024-25 के सकल लाभ/हानि, दिनांक 31.03.2025 को संचित हानि, कार्यरत व्यवस्थापक का नाम एवं उनके द्वारा आहरित वेतन व स्क्रीनिंग की दिनांक आदि के संबंध में सूचनाएं अपेक्स बैंक को प्रेषित करने के लिए निर्देशित किया गया है।

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