शासन सचिव और नाबार्ड ऑफिशियल इंतजार करते रहे, एमडी नहीं आये, सरकार ने निलम्बित किया
जयपुर, 14 फरवरी (मुखपत्र)। राजस्थान की भजनलाल शर्मा सरकार की भ्रष्टाचार के विरुद्ध जीरो टॉलरेंस पॉलिसी का सहकारिता विभाग (cooperative Department) में सबसे अधिक प्रभाव देखने को मिल रहा है। सत्यनाश हो चुकी व्यवस्था को पटरी पर लाने और लापरवाह एवं भ्रष्ट अधिकारियों को स्पष्ट संदेश देने के लिए बुधवार को राजस्थान सहकारिता सेवा (Rajasthan Cooperative Service) केे एक और अधिकारी को निलम्बित कर दिया गया।
कर्तव्य के प्रति घोर अनुशासनहीनता प्रदर्शित करने पर बुधवार को सरकार ने उप रजिस्ट्रार (Deputy Registrar) कैडर के अधिकारी जगदीश कुमार सुथार (Jagdeesh Kumar Suthar) को निलम्बित कर दिया। वे वर्तमान में जैसलमेर केंद्रीय सहकारी बैंक (DCCB) में प्रबंध निदेशक पद पर कार्यरत हैं। इससे पहले भी वे बैंक में प्रबंध निदेशक/अधिशासी अधिकारी के पद पर कार्य कर चुके हैं।
सुथार पर वित्तीय कुप्रबंधन और कर्तव्य में लापरवाही के गंभीर अरोपों के बारे में रिपोर्ट मिलने के बाद, राज्य सरकार ने उन्हें निलम्बित कर दिया। सहकारिता विभाग के संयुक्त शासन सचिव मोहम्मद अबूबक्र की ओर से जारी आदेशानुसार, वित्तीय कुप्रबंधन और कर्तव्य में लापरवाही के सम्बंध में रिपोर्ट प्राप्त के आधार पर अनुशासनिक कार्यवाही प्रस्तावित होने के कारण, राजस्थान सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण एंव अपील) नियम 1958 के नियम 13 के अंतर्गत जगदीश कुमार सुथार, उप रजिस्ट्रार को तत्काल प्रभाव से निलम्बित किया गया है। निलम्बन काल में सुथार का मुख्यालय सहकारिता रजिस्ट्रार कार्यालय, जयपुर रहेगा।
हर रोज हाजिरी लगानी होगी
सरकार की ओर से सुथार को विशेष रूप से पाबंद किया गया है कि वे निलम्बन अवधि में प्रतिदिन अपनी उपस्थिति कार्यालय रजिस्ट्रार, सहकारी समितियां, राजस्थान, जयपुर में उपस्थिति पंजिका में अंकित करेंगे और रजिस्ट्रार की पूर्वानुमति प्राप्त किये बिना अपना मुख्यालय नहीं छोड़ेंगे।
शासन सचिव की बैठक में नहीं आये
सूत्रों ने बताया कि जैसलमेर केंद्रीय सहकारी बैंक की खराब वित्तीय स्थिति और गलत ऋण वितरण को लेकर नाबार्ड की आपत्ति पर आगामी कार्यवाही के लिए बुधवार को शासन सचिवालय (Government Secretariat) में सहकारिता विभाग की शासन सचिव (Governing secretary) श्रीमती शुचि त्यागी (Shuchi Tyagi) के कार्यालय में महत्वपूर्ण बैठक बुलायी गयी थी। बैठक में शासन सचिव त्यागी और नाबार्ड (Nabard) के वरिष्ठ अधिकारी पहुंच गये थे लेकिन बैंक के प्रबंध निदेशक जगदीश कुमार सुथार उपस्थित नहीं हुए। इसे घोर अनुशासनहीनता मानते हुए त्वरित एक्शन लिये जाने की जरूरत महसूस हुई, जिसके बाद निलम्बन की कार्यवाही की गयी।
एक महीने में चौथी कार्यवाही
सरकार द्वारा एक महीने में सहकारिता सेवा के चार अधिकारियों के खिलाफ सख्त अनुशासनात्मक कार्यवाही को अंजाम दिया जा चुका है। सुथार से पूर्व, उप रजिस्ट्रार, सहकारी समितियां, जयपुर शहर के पद पर कार्यरत कृष्ण कुमार मीणा उर्फ केके मीणा को तथा जयपुर जोन के जोनल एडिशनल रजिस्ट्रार श्यामलाल मीणा को निलम्बित किया जा चुका है। जबकि एसीबी कोर्ट से चार साल कारावास की सजा पाये उप रजिस्ट्रार बजरंग लाल झारोटिया को राजकीय सेवा से बर्खास्त किया गया है।