उपराष्ट्रपति ने नागौर के मेड़ता सिटी में किसान नेता स्वर्गीय नाथूराम मिर्धा की प्रतिमा का अनावरण किया
नागौर, 14 मई। उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने रविवार शाम को नागौर जिले के मेड़ता सिटी में नाथूराम मिर्धा की अष्टधातु की बनी प्रतिमा का अनावरण किया। स्वतंत्रता सेनानी और किसान नेता नाथूराम मिर्धा छह बार सांसद और दो बार विधायक रहे। इस अवसर पर कृषि मंत्री लालचंद कटारिया, पूर्व विधायक श्री रिछपाल मिर्धा तथा नागौर की पूर्व सांसद सुश्री ज्योति मिर्धा सहित अनेक जनप्रतिनिधि, अधिकारी तथा किसान उपस्थित रहे।
अनावरण कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए उपराष्ट्रपति ने कृषि आयोग के अध्यक्ष के रूप में नाथूराम मिर्धा के योगदान को याद करते हुए कहा कि उन्होंने सर छोटूराम, किसान केसरी बलदेव मिर्धा और चौधरी चरण सिंह के सपनों को साकार करने का कार्य किया। इस अवसर की तुलना उपराष्ट्रपति पद की शपथ लेने के अवसर से की। उपराष्ट्रपति ने कहा कि वे नाथूराम मिर्धा के स्वप्न को पूरा करने का हरसंभव प्रयास करेंगे।
श्री धनखड़ ने कहा कि किसान कौम के लिए आरक्षण की लड़ाई कठिन थी, जिसमें स्वयं उनका भी योगदान रहा, लेकिन आज उसके सकारात्मक परिणाम देखने को मिल रहे हैं। उन्होंने कहा कि कृषि, ग्रामीण विकास और सरकारी योजनाओं का लाभ किसानों का अधिकार है। श्री धनखड़ ने किसान युवाओं से कृषि और ग्रामीण विकास के मार्ग पर चलने का आह्वान किया। उपराष्ट्रपति ने ग्रामीण किसान युवाओं में बढ़ती नशाखोरी और क्षणिक सरल लाभ के लिए कानून के उल्लंघन की प्रवृत्ति पर गहरी चिंता व्यक्त करते हुए आगाह किया कि कानून के साथ खिलवाड़ करना न सिर्फ उनके लिए महंगा पड़ेगा, बल्कि ग्रामीण किसान समुदाय को भी बदनाम करेगा। उन्होंने कहा कि कानून से ऊपर कोई नहीं होता, देर सबेर कानून का शिकंजा अवश्य कसेगा।
किसानों को परिवर्तन के साथ आगे बढऩा चाहिए
कुछ वर्गों द्वारा पुराने ट्रैक्टरों को हटाए जाने का विरोध किए जाने का उल्लेख करते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि किसानों ने सदैव परिवर्तन को आगे बढ़ कर अपनाया है। हमें चाहिए कि आज दुनिया में जो हो रहा है, हम उससे भी आगे बढ़ें। भारत के आर्थिक विकास में कृषि के महत्व की चर्चा करते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि विश्व में भारत की आर्थिक प्रगति का डंका किसानों के पसीने के कारण ही बज रहा है।
ब्रहा मंदिर में पूजा अर्चना जी
उपराष्ट्रपति और उनकी पत्नी डॉ. सुदेश धनखड़ आज सुबह राजस्थान की एक दिन की यात्रा पर जयपुर पहुंचे। वहां से उपराष्ट्रपति पुष्कर गए, जहां उन्होंने ऐतिहासिक ब्रह्मा मंदिर, श्री जाट शिव मंदिर के दर्शन किए तथा वहां स्वर्गीय नाथूराम मिर्धा की पहल पर बने विश्राम गृह का दौरा किया। इसके बाद उपराष्ट्रपति ने खरनाल स्थित वीरवर तेजा जी मंदिर के दर्शन किए।