सहकारिताओं को बीमा और चिकित्सा क्षेत्र में कार्य करना चाहिए – रजिस्ट्रार
जयपुर, 2 जुलाई (मुखपत्र)। को-ऑपरेटिव रजिस्ट्रार मुक्तानंद अग्रवाल ने कहा कि सहकारिता व्यापक सम्भावना वाला क्षेत्र है। बीमा और चिकित्सा क्षेत्र में सहकारिता को कार्य करना चाहिए, ताकि सभी लोगों को इसका लाभ मिल सके। सहकारिता की शक्ति उनके सदस्यों से है। जब तक लोकतांत्रिक पद्धति सहकारिता में रहेगी, इसका ढांचा मजबूत होता रहेगा। भविष्य में सहकारिता और श्रेष्ठता की ओर जाएगी। उन्होंने कहा कि सहकारिता नवाचार एवं नए क्षेत्रों में कार्य कर लोगों के जीवन में बदलाव लाएगी। श्री अग्रवाल शनिवार को 100वें अन्तरराष्ट्रीय सहकारिता दिवस पर राजस्थान राज्य सहकारी बैंक लि., जयपुर परिसर में आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि अंतिम छोर तक बैठे व्यक्ति के विकास के लिए सरकार और निजी क्षेत्र के कार्य करने के बावजूद भी एक रिक्तता रहती है, इसकेे लिए सहकारिता एक बेहतर माध्यम है। गरीब की आर्थिक उन्नति का सबसे सरल रास्ता सहकारिता है। उन्होंने कहा कि आज सहकारिता के क्षेत्र में इफको और अमूल की गुणवत्ता एवं उनकी सेवा को सभी लोग पहचानते है।
पैक्स सुदृढ़ होगी, तो सहकारिता मजबूत होगी
राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) के राजस्थान मुख्य महाप्रबंधक बैज्जू एन. पूरप ने कहा कि ग्राम सेवा सहकारी समितियां के सुदृढ़ होने पर ही सहकारिता भी मजबूत होगी। समय के साथ तकनीकी अपग्रेडेशन होना जरूरी है। उन्होंने डोर स्टेप बैंकिंग पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि सहकारी समितियों में स्थायित्व तभी आएगा, जब परम्परागत कार्यों के साथ अन्य कार्यों पर भी फोकस किया जाए।
उन्होंने तमिलनाडु, असम एवं केरल के सहकारिता के ढांचे से अवगत कराते हुए कहा कि केरल सहकारिता के क्षेत्र में अच्छा कार्य कर रहा है। वहां पैक्स का 200 करोड़ रुपए तक का टर्न ओवर है। उन्होंने सतत एवं स्थायी विकास के लिए सहकारिता को बेहतर मॉडल बताते हुए कहा कि देश के आर्थिक विकास में सहकारिता की महत्वपूर्ण भूमिका है।
सहकारिता सरकारी योजना के क्रियान्वयन का माध्यम
कार्यक्रम की विशिष्ट अतिथि, राजफैड की प्रबंध निदेशक श्रीमती उर्मिला राजोरिया ने कहा कि राजफैड किसानों के हित में कार्य करता है। कोविड के दौरान सहकारिता ने अपनी भूमिका निभाते हुए न्यूनतम समर्थन मूल्य पर की गई खरीद का किसानों को 3 से 4 दिवस में भुगतान किया। सहकारिता एक ऐसी कड़ी है, जो बंधन में जुड़े व्यक्ति का सामाजिक एवं आर्थिक स्तर मजबूत करता है एवं विकास की राह में शामिल करता है। उन्होंने कहा कि सहकारिता के द्वारा योजनाओं को अंतिम छोर तक बैठे व्यक्ति तक आसानी से पहुंचाया जा सकता है।
सहकारिता से जुड़े प्रत्येक व्यक्ति का स्तर ऊंचा उठाने का प्रयास
राजस्थान राज्य सहकारी बैंक लि. के प्रबंध निदेशक बृजेन्द्र राजोरिया ने स्वागत उद्बोधन में अपेक्स बैंक और सहकारिता विभाग द्वारा किए जा रहे कार्यों का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि सहकारिता से जुड़े प्रत्येक व्यक्ति का स्तर ऊंचा उठाने के प्रयास किए जा रहे हैं। कार्यक्रम में पावटा जीएसएस के अध्यक्ष राजेन्द्र पारीक, शाहपुरा केवीएसएस के अध्यक्ष सुगन चंद, पलसाना जीएसएस के व्यवस्थापक महादेव सिंह एवं मनोहरपुरा जीएसएएस के खेमचंद ने भी विचार व्यक्त किए।
कार्यक्रम की शुरूआत में 100वें अन्तरराष्ट्रीय सहकारिता दिवस पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना एवं प्रमुख शासन सचिव सहकारिता श्रीमती श्रेया गुहा के संदेश का वाचन किया गया। रजिस्ट्रार मुक्तानंद अग्रवाल ने सहकारिता ध्वज का ध्वाजारोहण किया। इस अवसर पर अपेक्स बैंक परिसर में पौधारोपण भी किया गया।