कर्मचारियों का भविष्य सुरक्षित करने के लिए ओपीएस लागू की, केन्द्र सरकार कानून बनाकर दे सामाजिक सुरक्षा – गहलोत
जयपुर, 12 मार्च (मुखपत्र)। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने रविवार को यहां महाराणा प्रताप ऑडिटोरियम में राजस्थान राज्य अन्य प्रशासनिक सेवा परिसंघ (रॉसकॉन) की कार्यकारिणी शपथ दिलायी और उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की। उन्होंने कहा कि राज्य में संवेदनशील, पारदर्शी एवं जवाबदेह प्रशासन देने में कर्मचारियों की भूमिका अहम है। राज्य सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाने में कर्मचारियों का महत्वपूर्ण योगदान है। राज्य सरकार के लिए सभी श्रेणियों के कार्मिक सम्मान के पात्र हैं।
इस अवसर पर रॉसकॉन अध्यक्ष दिनेश कुमार शर्मा (राजस्थान सहकारिता सेवा), रॉसकॉन महासचिव श्रीमती नवरेखा (राजस्थान रोजगार सेवा), राजस्थान खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति सेवा समिति अध्यक्ष नीरज जैन, राजस्थान ग्रामीण विकास सेवा परिषद अध्यक्ष अजय आर्य, राजस्थान परिवहन सेवा परिषद अध्यक्ष नानूराम चोयल, राजस्थान राज्य कर सेवा संघ अध्यक्ष महेश चौधरी, राजस्थान महिला बाल विकास अधिकारी सेवा परिषद अध्यक्ष महाराम दौराता तथा राजस्थान आबकारी सेवा संघ अध्यक्ष लक्ष्मी नारायण सहित रॉसकॉन के विभिन्न पदाधिकारी एवं सदस्य उपस्थित थे। इससे पहले रॉसकॉन अध्यक्ष दिनेश कुमार शर्मा ने मुख्यमंत्री को साफा पहनाकर एवं माल्यार्पण कर उनका स्वागत किया।

कर्मचारियों की मांग पर लागू की पुरानी पेंशन योजना
शपथ ग्रहण कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपनी सरकार की उपलब्धियों एवं कल्याणकारी योजनाओं को सबके सामने रखा। श्री गहलोत ने कहा कि राज्य में कर्मचारियों की मांग पर पुरानी पेंशन योजना को लागू किया गया है। इससे कर्मचारियों में अपने भविष्य के प्रति सुरक्षा की भावना आई है। नई पेंशन योजना में कर्मचारियों का भविष्य शेयर मार्केट पर निर्भर है। केन्द्र सरकार एवं कई अर्थशास्त्र्ीियों द्वारा पुरानी पेंशन योजना का विरोध अनुचित है। देश में पुरानी पेंशन योजना के लागू रहते सभी क्षेत्र में अभूतपूर्व प्रगति हुई है। ओपीएस किसी भी प्रकार से देश के विकास में बाधा उत्पन्न नहीं करती है।
राज्य सरकार कर रही कर्मचारियों के हितों की रक्षा
श्री गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा कर्मचारी हित में विभिन्न कल्याणकारी फैसले लिए गए हैं। इसी क्रम में वर्ष में दो बार डीपीसी कराने जैसा निर्णय लिया गया, ताकि कर्मचारियों को समयबद्ध रूप से पदोन्नति का लाभ मिल सके। संविदाकर्मियों के लिए भी ठेका प्रथा को समाप्त कर उनकी आय में वृद्धि करने का निर्णय लिया तथा संविदाकर्मियों को यथासंभव नियमित करने का कार्य किया जा रहा है।
केन्द्र सरकार कानून बनाकर सामाजिक सुरक्षा दे
मुख्यमंत्री ने कहा कि लोकतांत्रिक व्यवस्था में आर्थिक रूप से कमजोर नागरिकों को सामाजिक सुरक्षा उपलब्ध कराना सरकार का कर्तव्य है। राज्य सरकार द्वारा विधवा महिलाओं, एकल नारियों, बुजुर्गों तथा नि:शक्तजनों सहित लगभग 1 करोड़ लोगों को सामाजिक सुरक्षा पेंशन दी जा रही है। राज्य सरकार द्वारा न्यूनतम पेंशन को बढ़ाकर 1000 रुपये कर दिया गया है। इसके लिए 12 हजार करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। केन्द्र सरकार द्वारा 300 करोड़ रुपए की लागत से मात्र 10 लाख लोगों को सामाजिक सुरक्षा पेंशन दी जा रही है। केन्द्र सरकार को कानून बनाकर नागरिकों को सामाजिक सुरक्षा का अधिकार देना चाहिए तथा देश में एक समान पेंशन लागू करनी चाहिए।